Saturday 30 July 2011

तारे बन गये मीठे बोल


छोटी मुनिया बड़ी सयानी
बातें करती है अनमोल,
जब भी बोले मीठा बोले
वाणी में मिसरी-सा घोल
            अच्छे काम बड़ो की सेवा
            और हमारे मीठे बोल,
            बोलो दादी क्या होता है
            इन सारी बातों का मोल
मत कर मुनिया ऐसी बातें
ना कर ऐसे आँखें गोल,
भले काम का भला नतीजा
ये सारी बातें अनमोल
           अच्छे काम फूल बन जाते
           पँछी बन उपवन में गाते,
           और बड़ों की सेवा का फल
           कभी सका ना कोई तोल
गाल थपक कर बोली दादी
चल मुनिया अब आँखें खोल,
देख गगन में चकमक करते
तारे बन गये मीठे बोल


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